20 साल में पहली बार बढ़े टीबी के मरीज, 16 लाख लोगों की मौत
कोरोना महामारी के दौर में क्षय रोग कॉलोसिस विश्व स्वास्थ्य संगठन की एक रिपोर्ट के अनुसार, (टीबी) रोगियों की संख्या में भारी वृद्धि हुई है। वर्ष 2021 में लगभग 1.6 लाख लोगों की टीबी से मृत्यु हुई, जो पिछले दो वर्षों की तुलना में 14 प्रतिशत अधिक है।
2019 में 14 लाख और 2022 में लगभग 15 लाख लोग शिकार हुए। 2020 और 2021 में कोरोना महामारी के दौरान टीबी संक्रमण और मृत्यु दर में भी इजाफा हुआ। यह बीमारी, जिसे कभी लाइलाज माना जाता था, सैकड़ों लोगों की जान लेती थी, लेकिन टीबी जागरूकता कार्यक्रमों और बढ़ती स्वास्थ्य सुविधाओं के कारण इसमें कमी आई है।
मरीजों की घटती संख्या के 20 वर्षों के बाद 2021 में 14 प्रतिशत की वृद्धि चिंताजनक है। ग्लोबल टीबी की रिपोर्ट के मुताबिक 2021 में 1 करोड़ लोगों को टीबी हुआ, जो कि 2020 के मुकाबले 4.5 फीसदी ज्यादा है। पिछले कुछ वर्षों में दक्षिण पूर्व एशिया में प्रवासन में वृद्धि हुई है।
विश्व में 45% टीबी संक्रमण इन क्षेत्रों में पाए जाते हैं, 23% अफ्रीका में और 18% पश्चिमी प्रशांत क्षेत्र में। विश्व स्वास्थ्य संगठन का मानना है कि कोरोना महामारी के कारण टीबी का संक्रमण बढ़ा है। कोरोना संक्रमण के चलते टीबी के निदान और इलाज में मुश्किलें बढ़ गई हैं, जिससे टीबी का खौफ और बढ़ गया है।
एक बिंदु पर लक्ष्य निर्धारित किए गए थे और टीबी रोग नियंत्रण के लिए शुरू किए गए अभियानों का उलटा असर हुआ है। टीबी बैक्टीरिया से होने वाली एक संक्रामक बीमारी है।बैक्टीरिया सीधे फेफड़ों पर हमला करते हैं। कोविड की तरह खांसी भी हवा के जरिए एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति में फैल सकती है। विश्व स्वास्थ्य संगठन का यह भी मानना है कि दुनिया के कुछ हिस्सों में चल रहे युद्ध, शरणार्थी समस्याएं, वैश्विक ऊर्जा संकट और खाद्य संकट स्थिति को और खराब कर सकते हैं।